मुंबई: भारतीय सिनेमा के ‘भारत कुमार’ के नाम से मशहूर दिवंगत अभिनेता मनोज कुमार का शनिवार को मुंबई के पवन हंस श्मशान घाट में राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। उन्हें इक्कीस तोपों की सलामी दी गई। फिल्म जगत के कई बड़े सितारे इस दुखद मौके पर पहुंचे और नम आंखों से उन्हें अंतिम विदाई दी।
मनोज कुमार पिछले कुछ हफ्तों से मुंबई के कोकिलाबेन धीरूभाई अंबानी अस्पताल में भर्ती थे और लंबे समय से बीमार चल रहे थे। 87 साल की उम्र में उनका निधन शुक्रवार को हुआ।
अंतिम संस्कार के दौरान अभिनेता जायद खान ने कहा, “मनोज जी का भारतीय फिल्म जगत में एक शानदार इतिहास है। वह सच में एक सितारे थे, जिन्होंने हमें मानवता और कर्म के महत्व को समझाया। वह लोगों के दिलों में हमेशा जिंदा रहेंगे।”
अभिनेता बिंदू दारा सिंह ने कहा, “मनोज कुमार लीजेंड हैं, भारत की आन-बान-शान हैं। उन्होंने देश और फिल्म जगत को अपने जीवन के 87 शानदार साल दिए। उन्होंने इज्जत, प्यार, दौलत और शोहरत कमाई।”
बिंदू दारा सिंह ने आगे कहा, “मनोज जी का जीवन सबके लिए प्रेरणा है। उनकी अंतिम पांच-छह साल तकलीफ भरे रहे, लेकिन वह शांति से गए। मैं सरकार का धन्यवाद करता हूं कि उन्हें जो सम्मान मिला, वह वह डिजर्व करते थे।”
मनोज कुमार के बेटे कुणाल गोस्वामी ने बताया कि उनके पिता कुछ दिनों से बीमार थे और उन्हें 21 फरवरी को अस्पताल में भर्ती कराया गया था। उन्होंने कहा, “पिताजी सभी के साथ सच्चे और सटीक तरीके से जुड़े थे। उनकी फिल्में ‘उपकार’, ‘रोटी कपड़ा और मकान’, और ‘पूरब पश्चिम’ अब भी प्रासंगिक हैं।”
करीब 9:30 बजे मनोज कुमार के पार्थिव शरीर को मुंबई के कोकिलाबेन अंबानी अस्पताल से उनके आवास लाया गया, जहां पार्थिव शरीर का अंतिम संस्कार और प्रार्थना की गई। इसके बाद फूलों से सजे वाहन में उनका पार्थिव शरीर श्मशान घाट पहुंचा, जहां बेटे कुणाल गोस्वामी ने उन्हें मुखाग्नि दी।
मनोज कुमार की मृत्यु से फिल्म इंडस्ट्री और उनके प्रशंसकों के दिलों में एक खालीपन आ गया है, लेकिन उनकी फिल्मों और योगदान को हमेशा याद किया जाएगा।