नई दिल्ली: महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों के बाद कांग्रेस पार्टी ने मतदाता सूची में गड़बड़ी और मतदान प्रतिशत में बढ़ोतरी को लेकर गंभीर आरोप लगाए थे। पार्टी ने दावा किया था कि हर निर्वाचन क्षेत्र में 10,000 से ज्यादा मतदाता ‘मनमाने ढंग से जोड़े या हटाए गए’ थे और मतदान के दिन शाम 5 बजे के बाद मतदान प्रतिशत में अचानक वृद्धि देखी गई थी। अब इन आरोपों पर चुनाव आयोग (ईसीआई) ने जवाब देते हुए इन सभी आरोपों को खारिज कर दिया है।
मतदान प्रतिशत में बढ़ोतरी पर क्या बोला ECI?
चुनाव आयोग ने स्पष्ट किया कि शाम 5 बजे तक दिए गए मतदान प्रतिशत के आंकड़े और रात 11:45 बजे के अंतिम आंकड़ों की तुलना करना सही नहीं है। आयोग ने बताया कि कई मतदान केंद्रों पर शाम 5 बजे के बाद भी मतदान जारी रहता है और इस दौरान डाले गए वोटों की गिनती प्रक्रिया का हिस्सा होती है। यह एक सामान्य प्रक्रिया है, जिसमें अंतिम आंकड़े अपडेट होते रहते हैं।
मतदाता सूची में कोई अनियमितता नहीं: चुनाव आयोग
चुनाव आयोग ने कहा कि महाराष्ट्र में मतदाता सूची तैयार करने में पूरी पारदर्शिता और नियमों का पालन किया गया है। आयोग ने यह भी बताया कि कांग्रेस के प्रतिनिधि इस प्रक्रिया में शामिल थे और किसी भी निर्वाचन क्षेत्र में मतदाता जोड़ने या हटाने में कोई अनियमितता नहीं पाई गई। इसके अलावा, मतदान केंद्रों पर उपलब्ध वैधानिक फॉर्म 17सी यह सुनिश्चित करता है कि वास्तविक मतदान डेटा में कोई छेड़छाड़ न हो।
सुझावों का स्वागत
चुनाव आयोग ने कांग्रेस को सूचित किया कि पार्टी द्वारा मांगे गए सभी डेटा सीईओ महाराष्ट्र की वेबसाइट पर उपलब्ध हैं और इन्हें डाउनलोड किया जा सकता है। आयोग ने राजनीतिक दलों को आश्वासन दिया कि वह अपनी पारदर्शी और सहभागी प्रक्रियाओं को जारी रखेगा और राजनीतिक दलों से रचनात्मक सुझाव देने और सहयोग करने का आग्रह किया। चुनाव आयोग ने अपनी ओर से निष्पक्षता बनाए रखने का भरोसा भी दिलाया।
इस प्रकार, चुनाव आयोग ने कांग्रेस के आरोपों को सिरे से नकारते हुए पूरी प्रक्रिया को पारदर्शी और नियमों के तहत बताया है।